मुख्यमंत्री चिरंजीवी स्वास्थ्य बीमा योजना
मुख्यमंत्री चिरंजीवी योजना के तहत 10 लाख तक का सूरक्षा, 5लाख तक का दुर्घटना बीमा , एवं पात्रता महिला को एक स्मार्ट फोन दिया जाएगा जिसमे 3साल तक फ्री इंटरनेट की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। राज्य सरकार ने फिर से मुख्यमंत्री चिरंजीवी योजना की अंतिम तिथि 31 मई की गई यानी एक बार और अंतिम तिथि बढाई गई।
माननीय मुख्यमंत्री जी के निर्देशानुसार रजिस्ट्रेशन/नवीनीकरण की अंतिम तिथि 7 मई 2022 से बढ़ाकर 31 मई 2022 कर दी है। योजनान्तर्गत निशुल्क स्वास्थ्य लाभ हेतु आज ही 850 रूपये से ई-मित्र के माध्यम से जमा करवाकर पंजीयन/नवीनीकरण करवायें – चिरंजीवी योजना
योजनान्तर्गत पात्रता
योजनार्न्तगत पात्र परिवार दो प्रकार की श्रेणियों में विभक्त किया गया है-
- निःशुल्क लाभ प्राप्त करने वाली श्रेणीः- राज्य सरकार द्वारा निर्धारित ऐसी श्रेणी के पात्र परिवारों के प्रीमियम का 100 प्रतिशत भुगतान सरकार द्वारा किया जाता है। वर्तमान में खाद्य सुरक्षा अधिनियम के अर्न्तगत पात्र परिवार, सामाजिक आर्थिक जनगणना (एसईसीसी) 2011 के पात्र परिवार, राज्य के सरकारी विभागों/बोर्ड/निगम/सरकारी कम्पनी में कार्यरत संविदा कार्मिक, लघु सीमांत कृषक एवं गत वर्ष कोविड-19 अनुग्रह राशि प्राप्त करने वाले निराश्रित एवं असहाय परिवार निःशुल्क श्रेणी में सम्मिलित है।
- रू 850/-प्रति परिवार प्रति वर्ष का भुगतान कर लाभ प्राप्त करने वाली श्रेणीः-राज्य के वें परिवार जो निःशुल्क पात्र परिवारों की श्रेणी में नही आते एवं सरकारी कर्मचारी/पेंशनर नही है तथा मेडिकल अटेंडेंस रूल्स के तहत् लाभ नहीं ले रहे है वें निर्धारित प्रीमियम का 50 प्रतिशत अर्थात् रू 850 प्रति परिवार प्रति वर्ष का भुगतान कर योजना का लाभ ले सकते है। प्रीमियम का शेष 50 प्रतिशत भाग सरकार द्वारा वहन किया जायेगा।
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प्रस्तावना
’राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी की यह इच्छा रही कि हर आंख का आंसू पोंछ दिया जाये। जब तक आंसू और दर्द है, हमारा काम समाप्त नहीं होगा।’’
बापू की इसी मंशा को साकार करने के लिए राज्य सरकार द्वारा बजट घोषणा 2021-22 में ’यूनिवर्सल हैल्थ कवरेज’ को प्रदेश में लागू करने की घोषणा की है जिसकी अनुपालना में दिनांक 1 मई 2021 से प्रदेश में मुख्यमंत्री चिरंजीवी स्वास्थ्य बीमा योजना की शुरूआत की जा रही है। प्रदेश के समस्त नागरिकों को चिकित्सा पर लगने वाले बड़े खर्चो से मुक्त कर उत्तम स्वास्थ्य की प्रतिबद्धता से इस योजना को लाया गया है ताकि तकलीफ एवं गंभीर बीमारी के ईलाज में पैसे की कोई बाध्यता नहीं हो।
राजस्थान सरकार सदैव प्रदेश के नागरिकों को स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने के लिए विभिन्न नवाचार करने में अग्रणीय रही है। राजस्थान ने पूर्व में भी प्रदेश में निःशुल्क दवा एवं निःशुल्क जांच योजना का सफल संचालन किया है जिससे राज्य के सरकारी अस्पतालों में आमजन को निःशुल्क दवां एवं जांच का लाभ मिल रहा है।
राजस्थान ने ’यूनिवर्सल हैल्थ कवरेज’ की और कदम बढ़ाते हुए सरकारी के साथ-साथ निजी अस्पतालों में भी प्रदेश के नागरिकों को अस्पताल में भर्ती होने पर गुणवत्तापूर्ण निःशुल्क चिकित्सा सेवाएं उपलब्ध करवाने एवं स्वास्थ्य सेवाओं के लिए परिवार द्वारा किये जाने वाले खर्च को कम करने के उद्देश्य से मुख्यमंत्री चिरंजीवी स्वास्थ्य बीमा योजना की शुरूआत की है।
परिभाषाएं
- बैड क्षमताः- बैड क्षमता से अभिप्राय अस्पताल में उपलब्ध उतने बैड (बिस्तर) से है, जिनका जिला एम्पेनलमेंट कमेटी द्वारा सत्यापन किया गया है तथा राजस्थान पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड के प्रमाण पत्र में उल्लेख है।
- डिजीज पैकेज/प्रोसिजरः-आयुष्मान भारत-महात्मा गांधी राजस्थान स्वास्थ्य बीमा योजना हेतु प्रकाशित आरएफपी एवं योजना की गाइडलाइन में प्रदर्शित पैकेजेज/प्रोसिजर्स।
- डे-केयर ट्रीटमेंटः- डे-केयर ट्रीटमेंट से तात्पर्य उन चिकित्सीय उपचारो अथवा शल्य चिकित्सा से है, जो कि तकनीकी आधुनिकीकरण के कारण जनरल एनेस्थिसिया या लोकल एनेस्थिसिया के अन्तर्गत 24 घंटे से कम की अवधि में किये जा सकते है एवं जिन प्रोसिजर्स/पैकेजेज में मरीज का 24 घंटे अस्पताल में रूकना जरूरी नही है।
- पात्र परिवारः- योजनार्न्तगत जन-आधार डेटाबेस से जुडे वें परिवार जो निःशुल्क श्रेणी के अर्न्तगत पात्रता रखते है अथवा निर्धारित प्रीमियम का भुगतान कर योजना में पंजीकृत हुए है।
- परिवारः-योजना हेतु प्रयुक्त किये जाने वाले पहचान पत्र (जन-आधार कार्ड) में प्रदर्शित समस्त सदस्य परिवार में सम्मिलित है। इसके अतिरिक्त उस परिवार का एक साल की आयु तक का वह शिशु भी सम्मिलित है, जिसका नाम पहचान पत्र में नहीं है।
- सरकारः- सरकार से तात्पर्य राजस्थान सरकार से है।
- निजी अस्पतालः- से अभिप्राय उन निजी चिकित्सा संस्थानो से है, जिन्हे राजस्थान स्टेट हैल्थ एश्योरेंस एजेंसी द्वारा योजना के क्रियान्वयन हेतु सम्बद्ध किया हुआ है।
- सरकारी अस्पतालः- सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र तथा उससे उच्च स्तर के समस्त सरकारी अस्पताल इसमें सम्मिलित है। इसमें भारत सरकार द्वारा राज्य में संचालित सम्बद्ध राजकीय अस्पताल भी सम्मिलित है।
- कैशलेस उपचारः- कैशलेस उपचार से तात्पर्य है कि योजनान्तर्गत लाभार्थी परिवार के सदस्य के लिये योजना की आर.एफ.पी. तथा पैकेज गाइडलाइन से चयनित पैकेज के तहत उपचार के लिए उसे नेटवर्क अस्पतालो को किसी भी प्रकार की कोई राशि नहीं चुकानी होगी। नेटवर्क अस्पताल को ईलाज के खर्चे का पुनर्भरण बीमा कम्पनी द्वारा अनुबंध की शर्तो के अनुसार किया जायेगा।
- इंटेन्सिव केयर युनिट (ICU) – नेटवर्क अस्पताल का ऐसा पृथक वार्ड अथवा विंग जो कि समर्पित चिकित्सक के निरीक्षण में रहता है तथा यह उन सभी Life Support उपकरणों तथा सुविधाओं से युक्त है, जिनकी आवश्यकता मरीज के गंभीर स्थिति में होने पर उसके जीवन की रक्षा के लिये होती है।
- ओपीडी उपचार (OPD Treatment) – इस प्रकार के उपचार में मरीज को चिकित्सीय परामर्श, जाँच, उपचार आदि दिया जाता है परन्तु उसे अस्पताल में भर्ती करने की आवश्यकता नहीं होती है।
- आईपीडी उपचार (IPD Treament) – इस प्रकार के उपचार में मरीज को अस्पताल के आईपीडी अनुभाग में र्श्ती रहकर उपचार लेना होता है।
- नेटवर्क हॉस्पिटलः- बिन्दु संख्या 7 में वर्णित निजी अस्पताल तथा बिन्दु संख्या 8 में वर्णित सरकारी अस्पताल नेटवर्क हॉस्पिटल के नाम से जाने जायेंगे।
- दिशा-निर्देशः- वें सभी निर्देश जो मुख्यमंत्री चिरंजीवी स्वास्थ्य बीमा योजना/आयुष्मान भारत-महात्मा गांधी राजस्थान स्वास्थ्य बीमा योजना के अन्तर्गत राजस्थान स्टेट हैल्थ एश्योरेंस एजेंसी द्वारा समय समय पर जारी किये जा चुके है/जारी किये जाते है।
- परिवार पहचान पत्रः- परिवार पहचान पत्र से अभिप्राय जन-आधार कार्ड से है।
- बीमा कम्पनीः- राजस्थान स्टेट हैल्थ एश्योरेंस एजेंसी द्वारा योजना के क्रियान्वयन के लिए चयनित बीमा कम्पनी।
- मिनिमम डॉक्यूमेंट प्रोटोकॉलः- मिनिमम डॉक्यूमेंट प्रोटोकॉल से अभिप्राय उन आवश्यक दस्तावेजो से है जो नेटवर्क अस्पतालों द्वारा बीमा कंपनी को क्लेम प्रोसेसिंग/प्री-ऑथ रिक्वेस्ट के समय प्रस्तुत किये जायेंगे।
- राजस्थान स्टेट हैल्थ एश्योरेंस एजेंसीः- योजना के क्रियान्वयन हेतु सोसायटी एक्ट 1958 में रजिस्टर्ड संस्था।
- बीमा राशि/सम एश्योर्ड/वॉलेटः- लाभार्थी परिवार के सदस्यो को उपलब्ध साधारण बीमारियों हेतु रु 50,000/- एवं गंभीर बीमारियों हेतु रु 4.50 लाख प्रति परिवार प्रति वर्ष का स्वास्थ्य बीमा कवर है।
- लामा (Left Against Medical Advice) – ऐसी परिस्थिति जिसमें मरीज चिकित्सक द्वारा डिस्चार्ज करने से पहले अस्पताल से जाना चाहता है।
- एब्सकॉन्ड (Abscond) – ऐसी परिस्थिति जिसमें मरीज इलाज पूर्ण होने के पूर्व हीं अस्पताल के डॉक्टर अथवा अन्य स्टाफ को सूचना दिये बिना अस्पताल से चला जाता है।
योजना का उद्देश्य
- पात्र परिवारो का स्वास्थ्य पर होने वाला व्यय(Out of pocket Expenditure) कम करना।
- पात्र परिवारो का राजकीय अस्पतालो के साथ-साथ योजना में सम्बद्ध निजी चिकित्सालयो के माध्यम से गुणवत्तापूर्ण एवं विषेशज्ञ चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध कराना।
- राज्य के पात्र परिवारो को योजना में वर्णित पैकेज से संबंधित बीमारियो का निःशुल्क ईलाज उपलब्ध करवाना।
योजना का विवरण
योजना का विवरण (Salient Features):-
- योजना का प्रारंभः राज्य में दिनांक 30 जनवरी 2021 से लागू आयुष्मान भारत-महात्मा गांधी राजस्थान स्वास्थ्य बीमा योजना का दायरा बढ़ा कर पूरे प्रदेश को स्वास्थ्य बीमा का लाभ देने के लिए दिनांक 1 मई 2021 से प्रदेश में मुख्यमंत्री चिरंजीवी स्वास्थ्य बीमा योजना की शुरूआत की जा रही है।
- लाभार्थी परिवारः योजनार्न्तगत जन-आधार डेटाबेस से जुडे/पंजीकृत वें परिवार जो निःशुल्क श्रेणी के अर्न्तगत पात्रता रखते है अथवा निर्धारित प्रीमियम का भुगतान कर योजना में पंजीकृत हुए है। निःशुल्क श्रेणी में पंजीकृत राज्य के खाद्य सुरक्षा अधिनियम (एनएफएसए) के अन्तर्गत पात्र लाभार्थी परिवार, सामाजिक आर्थिक जनगणना (एसईसीसी) 2011 के पात्र परिवार, प्रदेश के समस्त विभागों/बोर्ड/निगम/सरकारी कम्पनी में कार्यरत संविदाकार्मिक, लघु एवं सीमांत कृषक एवं गत वर्ष कोविड-19 अनुग्रह राशि प्राप्त करने वाले निराश्रित एवं असहाय परिवार सम्मिलित है। प्रदेश के वें अन्य परिवार जो सरकारी कर्मचारी/पेंशनर नहीं है, अर्थात् मेडिकल अटेन्डेंस नियमों के तहत् लाभ नहीं ले रहे है, वें निर्धारित प्रीमियम का भुगतान कर योजना में सम्मिलित हो सकते है।
- वॉलेट राशिः इस योजना में साधारण बीमारियों हेतु रू. 50,000/- प्रतिवर्ष तथा गम्भीर बीमारियो हेतु रू. 4.50 लाख की राशि का बीमा कवर प्रतिवर्ष प्रति परिवार देय है। यह वॉलेट राशि पूरे परिवार के लिए एक पॉलिसी वर्ष में उपयोग के लिए है। यदि किसी पॉलिसी वर्ष के दौरान मरीज के लिये पैकेज बुक करते समय मरीज के वॉलेट की राशि कम पडती है अथवा समाप्त हो गई है, तो ऐसी स्थिति में शेष राशि का भुगतान मरीज के द्वारा स्वयं किया जायेगा। इसके लिए अस्पताल ईलाज के पूर्व ही मरीज के परिवार को इस बारें में सूचित करेंगे एवं मरीज/परिवार से लिखित सहमति लेंगे।श्
- पैकेजः योजना केवल आईपीडी प्रोसिजर्स एवं चिन्हित प्रोसिजर्स के लिए मान्य होगी। योजना के अन्तर्गत विभिन्न बीमारियो के 1576 प्रकार के पैकेजेज एवं प्रोसिजर्स उपलब्ध है। पैकेजेज को और अधिक सुगम एवं समझने में आसान बनाने के लिए इन्हें योजना के सॉफ्टवेयर में 3219 पैकेजेज में विभक्त किया गया है। योजनान्तर्गत योजना के आरम्भ से पूर्व की सभी बीमारियां सम्मिलित है। योजना के अन्तर्गत लाभार्थी को मिलने वाले बीमारियों के पैकेज में निम्नाकिंत चिकित्सा सुविधाएँ शामिल है-
- पंजीकरण शुल्क
- बिस्तर व्यय
- भर्ती व्यय तथा नर्सिंग व्यय।
- शल्य चिकित्सा, संवेदनाहरण विशेषज्ञ तथा सामान्य चिकित्सा का परामर्श शुल्क।
- संवेदनाहरण, (Anaesthesia) रक्त, ऑक्सीजन, ओ.टी आदी का व्यय।
- औषधियों का व्यय।
- एक्स-रे तथा जॉंच पर व्यय आदि।
- संचारी रोगो से अस्पताल के स्टाफ एवं मरीज के बचाव के लिए आवश्यक उपकरणों पर होने वाला व्यय।
मरीज जिस बीमारी के लिए अस्पताल में भर्ती होता है, उसके 5 दिन पहले एवं डिस्चार्ज के 15 दिन तक उस बीमारी से संबंधित उस अस्पताल में की गयी जांचों, दवाइयों एवं डॉक्टर के परामर्श शुल्क का व्यय उस पैकेज की राशि में सम्मिलित है।
अन्य प्रावधानः योजना में परिवार के आकार एवं आयु की कोई सीमा नहीं है। एक वर्ष तक के शिशु बिना परिवार कार्ड में नाम के भी योजना में लाभ लेने के लिए अधिकृत होंगे।
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